Tuesday, May 26, 2009

अंट-शंट

मैं एक दिन ब्लॉग लिखने बैठा...सिस्टम के सामने बैठने से पहले मेरे दिमाग़ में बहुत सारे विषय थे लेकिन बैठते ही नाजाने सारे विषय कहां चले गए...तभी एकाएक मैने सोचा की सभी ब्लॉगर कुछ ना कुछ लिखते रहते हैं...और उनके विषय भी रोचक होते हैं...लेकिन ये तो ज्यादातर अंट-शंट ही होते हैं...जैसे की...क्या हनुमान जी के और भी पांच भाई थे...हाथ पीले हो गए...चेंजिंग रूम...(मैं किसी भी ब्लॉगर की भावनाओं को ठेस नहीं पहुंचाना चाहता हूं...अगर मुझसे किसी तरह की गलती हो गई हो तो मुझे माफ करें...)। ये भी क्या कोई विषय हैं...अरे कुछ ऐसा लिखो जिसे पढ़कर किसीको किसी तरह की मदद मिले...अंट-शंट लिखने लग जाते हैं...लोग-बाग...ये तो मात्र बक***यां हैं...अगर यही करना है तो अपने दोस्तों के साथ महफिल जमाओ...और जितनी मर्ज़ी बक*** करनी है करो...इसी को देखते हुए मैंने भी सोचा की कुछ अंट-शंट ही लिख लिया जाए...तो लीजिए हम ने लिख डाला अंट-शंट...

1 comment: